यदि आपको किसी विभाग में हुए भ्रष्टाचार या फिर मीडिया जगत में खबरों को लेकर हुई सौदेबाजी की खबर है तो हमें जानकारी मेल करें. हम उसे वेबसाइट पर प्रमुखता से स्थान देंगे. किसी भी तरह की जानकारी देने वाले का नाम गोपनीय रखा जायेगा.
हमारा मेल है newspostmartem@gmail.com

आपके पास कोई खबर है तो मेल करें newspostmartem@gmail.com आपका नाम गोपनीय रखा जाएगा.

Monday, December 28, 2009

व्याख्याता ने कलेक्टर बन चैनल का प्रसारण रुकवाया

सतना जिले के सरकारी कर्मचारियों के कारनामों में यह एक अपनी तरह का काफी बड़ा मामला सामने आया है जिसमें एक व्याख्याता ने एक अधिकारी का नजदीकी बनने के लिहाज से कलेक्टर बन कर सतना शहर में चैनल का प्रसारण रुकवा दिया.
हमे मेल द्वारा भेजी गई जानकारी में बताया गया है कि 24 दिसम्बर को साधना न्यूज के रिपोर्टर राज द्विवेदी ने डिप्टी कलेक्टर राजीव दीक्षित की फुटेज अपने कैमरे में तब कैद कर ली जब वे अपने आफिस में कम्प्यूटर में ताश खेल रहे थे. मेल में बताया गया है कि राज इसे महज एक सामान्य स्टोरी की भांति चलाना चाह रहे थे लेकिन डिप्टी कलेक्टर को न जाने क्या सूझा कि उन्होंने खबर ही रुकवाने का मन बना लिया. अधिकारी की यह मंशा स्थानीय चैनल के संचालक सदस्यों में से एक तथा व्यंकट क्रमांक 2 के व्याख्याता भूप सिंह को समझ में आ गयी. उन्होंने खुद को मीडिया जगत की तोप बताने की नीयत से न केवल यह आस्वासन दे दिया कि यहां किसी चैनल में यह खबर नहीं आयेगी न ही किसी न्यूजपेपर में. लेकिन इस बीच साधन चैनल में इस खबर की पट्टी चलने लगी क्योंकि रिपोर्टर द्वारा इस स्टोरी की उच्च स्तर पर जानकारी दी जाकर खबर बनाने की अनुमति मांगी गयी थी. जैसे ही यह जानकारी राजीव दीक्षित को लगी तो फिर यह मामला फिर भूप सिंह के समीप पहुंचा. इसे अपनी इज्जत से जोड़ते हुए भूप सिंह ने न केवल साधना चैनल के रिपोर्टर से बदतमीजी की बल्कि उन्हे धमकी भी दी. इसके साथ ही अपने चैनल में प्रसारण रोकने के साथ ही शहर के अन्य चैनलों को यह संदेश भिजवाया कि कलेक्टर इस चैनल का प्रसारण बंद करने के आदेश दिये है. फिर क्या था आनन फानन में चैनल का प्रसारण रोक दिया गया जबकि हकीकत यह थी कि इसकी जानकारी स्वयं कलेक्टर को नहीं थी.
जब इसकी जानकारी संबंधित चैनल को लगी की उसका प्रसारण रुक गया है तो फिर चैनल ने इस स्टोरी को मास्टर स्टोरी बनाते हुए प्रदेश स्तर से प्रभारी मंत्री सहित तमाम लोगों को आन लाइन किया साथ ही कलेक्टर सतना से भी इस बावत बात की जिसमें कलेक्टर यह साफ कहते नजर आये कि उन्हे इस घटना की जानकारी नहीं है. फिर सिटी मजिस्ट्रेट को चैनलो के प्रसारण केन्द्र में भेज कर साधना का प्रसारण शुरू करवाया गया.
लेकिन यहां सवाल यह उठता है कि भूप सिंह जैसे व्याख्याता क्या इतने भारी हो गये हैं कि कलेक्टर के नाम पर फर्जी निर्देश जारी कर दें. साथ ही कलेक्टर ने क्या इस पर कोई जांच बैठायी है हालांकि प्रभारी मंत्री ने इस घटना की जांच कराने की बात कही है. लेकिन यह जरूर स्पष्ट हो गया है कि भूप सिंह ने अधिकारी के करीबी बनने के चक्कर में कलेक्टर की इज्जत की फजीहत जमकर उड़ाई है.

No comments:

Post a Comment